Shocking News : जेएनयू की पूर्व छात्रा नेता शेहला रशीद का दावा: पीएम मोदी का समर्थन करना ‘यू-टर्न’ नहीं है, जानिए क्यों!        

शेहला रशीद ने अपने वक्तव्य में कश्मीर में आए विकास के बदलावों का समर्थन किया और मोदी सरकार की तारीफ की। उन्होंने यह कहा कि अब लोग भी उस सरकार से शिकायतें कर रहे हैं, जिसे वे “अपना मानते हैं।”

Shocking news : जेएनयू की पूर्व छात्रा नेता शेहला रशीद का दावा: पीएम मोदी का समर्थन करना 'यू-टर्न' नहीं है, जानिए क्यों!  
Shocking news : जेएनयू की पूर्व छात्रा नेता शेहला रशीद का दावा: पीएम मोदी का समर्थन करना ‘यू-टर्न’ नहीं है, जानिए क्यों!  

इस खबर की महत्वपूर्ण बातें

  1. “शेहला रशीद ने उठाया मोदी सरकार का समर्थन, कहा कश्मीर में बदलाव विकास की दिशा में”
  2. “शॉकिंग: कश्मीर में बदलाव के समर्थन में उतरी जेएनयू की बड़ी नेता, ने की मोदी सरकार की तारीफ”
  3. “क्या धर्म, या राजनीति? शेहला रशीद ने किया मोदी सरकार का समर्थन, सामने आई चौंकाने वाली बयानबाज़ी”

जेएनयू की पूर्व छात्रा नेता शेहला रशीद ने अपने हाल के बयान में नरेंद्र मोदी सरकार का समर्थन जताया है, जो कश्मीर में विकास के बदलावों को साबित करता है। उन्होंने स्पष्ट किया कि वह केवल स्थितियों को स्वीकार कर रही हैं, न कि व्यक्तिगत या राजनीतिक धारणाओं का समर्थन कर रही हैं। इसके अलावा, उन्होंने संकेत दिया कि लोग अब विकास से जुड़े बातचीतों को महत्व दे रहे हैं, जो एक समय आजादी के मुद्दे हुआ करते थे। उन्होंने इस संदेश को मजबूत किया कि वे केवल स्थितियों की बदलाव को समर्थन कर रही हैं, जो विकास की दिशा में हैं।

इस बयान में शेहला रशीद ने कहा कि उन्हें मोदी सरकार के कुछ कदमों पर समर्थन मिल रहा है, जैसे कि कश्मीर में सड़कों के निर्माण और बिजली कटौती को कम करने के प्रयास। वे मानती हैं कि इससे कश्मीर के लोगों को विकास का लाभ मिलेगा और सरकार की पहल को समर्थन मिलना चाहिए। इसके साथ ही, रशीद ने उज्जवल भविष्य की दिशा में सरकार के प्रयासों की सराहना की और उसका समर्थन किया।

उन्होंने यह भी कहा कि कोविड-19 महामारी के दौरान सरकार के प्रयास उन्हें प्रेरित करते हैं। उनके अनुसार, इस महामारी के दौरान सरकार ने विभिन्न उपायों का इस्तेमाल किया, जैसे कि मास्क पहनने, वैक्सीनेशन, और लॉकडाउन, जो उन्हें आगे बढ़ने में मदद करते हैं।

इससे पहले, रशीद ने कहा कि उन्हें अपने बड़ों की सुनने में कोई बुराई नहीं माननी चाहिए, क्योंकि उनका अनुभव और ज्ञान बहुमूल्य है। वे प्रधानमंत्री मोदी की भी तारीफ करती हैं और उनका अनुभव को महत्वपूर्ण मानती हैं। उन्होंने कहा, “जितनी मेरी उम्र नहीं है, उतना पीएम मोदी का अनुभव है।” इससे जाहिर है कि उन्हें उनके अनुभव की प्राथमिकता है और वे उनके द्वारा लिए गए निर्णयों का समर्थन करती हैं।

अखिर में, रशीद ने साफ किया कि उनका पक्ष और समर्थन विकास की दिशा में है और वे कश्मीर के लोगों के हित में सरकार के कदमों का समर्थन कर रही हैं।

पूछे जाने वाले प्रश्न

  1. क्या शेहला रशीद ने किसी राजनीतिक दल के साथ जुड़ी हुई  है? नहीं, शेहला रशीद ने किसी भी राजनीतिक दल के साथ जुड़ी नहीं है। वे एक स्वतंत्र विचारक और सामाजिक कार्यकर्ता हैं जो अपने विचारों को खुले रूप में व्यक्त करती हैं।
  2. क्या रशीद ने पहले भी मोदी सरकार का समर्थन किया है? हां, शेहला रशीद ने पहले भी मोदी सरकार के कुछ कदमों का समर्थन किया है। उन्होंने विकास और प्रगति के क्षेत्र में सरकार के प्रयासों का समर्थन किया है।
  3. क्या रशीद का इस बयान का कोई राजनीतिक उद्देश्य है? नहीं, रशीद का यह बयान कोई राजनीतिक उद्देश्य नहीं रखता है। वह अपने विचारों को सार्वजनिक कर रही हैं और कश्मीर के विकास की दिशा में सरकार के कदमों का समर्थन कर रही हैं।
  4. क्या रशीद की इस बयान से कुछ राजनीतिक विवाद हैं? जी हां, रशीद की इस बयान से कुछ राजनीतिक विवाद हैं। कुछ लोग इसे राजनीतिक तर्कों के लिए उपयोग कर रहे हैं और इसे विवादास्पद मान रहे हैं।
  5.  क्या रशीद का यह बयान कश्मीर के लोगों की भावनाओं को प्रतिबद्ध करता है? रशीद का यह बयान कश्मीर के लोगों की भावनाओं को प्रतिबद्ध नहीं करता है, बल्कि वह कश्मीर के विकास की दिशा में सरकार के कदमों का समर्थन करती हैं।

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