Lok Sabha Elections 2024 :कंगना के कांग्रेस संबंध का खुलासा! हिमाचल के विधायक परदादा, पिता की राजनीति पर मां ने उठाए पर्दे
कंगना रनौत के परदादा के कांग्रेस से संबंधों का एक बड़ा खुलासा हुआ है। यह खबर हिमाचल प्रदेश की राजनीति में तहलका मचा देगी। विधायक सरजू सिंह के परदादा होने का यह खुलासा राजनीतिक दायरे में गहरी उलझन खड़ी करेगा। इससे पहले की खबरों के खिलाफ, यह विवाद का बुनियादी स्तर पर उठ चुका है।
इस खबर की महत्वपूर्ण बातें:
- कंगना रनौत के परदादा कांग्रेस के विधायक रहे थे, खुलासा हुआ
- Loksabha Election 2024: कंगना रनौत के परदादा के कांग्रेस से संबंध, बड़ा खुलासा
- कंगना रनौत के परदादा ने चुनावी रणनीति में दिया बड़ा उलटफेर, विवाद
कंगना रनौत के परदादा के कांग्रेस से संबंधों का खुलासा होने से हिमाचल प्रदेश की राजनीति में चर्चा छिड़ गई है। सरकारी अधिकारियों ने इसे सत्यापित किया है, जिससे कि वहाँ की राजनीतिक दायरे में तार-तार है। कांग्रेस के विधायक सरजू सिंह के परदादा होने की जानकारी ने लोगों को हैरान कर दिया है। यह समाचार उनके राजनीतिक उपलब्धियों पर भी सवाल खड़ा करता है।
कांगना के परदादा के राजनीतिक योगदान को लेकर उनके परिवार ने स्पष्टता से इनकार किया है। विवाद के बीच, लोगों में उसके परिवार के कांग्रेस संबंधों पर विवाद बढ़ रहा है। इसे लेकर अभी तक कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है, लेकिन इसे लेकर जल्द ही बातचीत आगे बढ़ सकती है।
कांगना रनौत के परदादा के राजनीतिक इतिहास को लेकर जानकारी के बावजूद, उनके परिवार का दावा है कि वे किसी भी राजनीतिक दल से संबंधित नहीं हैं। इस पूरे मामले में और जानकारी के लिए और जाँच की जारी है।
आज राष्ट्रीय अध्यक्ष माननीय श्री जगत प्रकाश नड्डा जी से भेंट हुई। मैं उनके मार्गदर्शन और सहयोग के लिए सदा आभारी रहूँगी, मैं अपने क्षेत्र मंडी की प्रगति और ख़ुशहाली के लिए जी-जान लगा कर काम करूँगी। जय हिन्द 🇮🇳 pic.twitter.com/72BzDAUm2t
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) March 26, 2024
इस बारे में कंगना की मां आशा रनौत “ये तो काफी पुरानी बात है। इसलिए मुझे इस बारे में इतना कुछ पता नहीं है। ये सब मेरे पति ही बता पाएंगे। उनको (सरजू सिंह) को लेकर मुझे ज्यादा मालूम नहीं है।
ये तस्वीर हिमाचल प्रदेश विधानसभा के 1954 के बजट सत्र की है। इसमें कंगना रनौत के परदादा और कांग्रेस सरजू सिंह भी नजर आ रहे हैं। ये तस्वीर हिमाचल प्रदेश विधानसभा के 1954 के बजट सत्र की है। इसमें कंगना रनौत के परदादा और कांग्रेस सरजू सिंह भी नजर आ रहे हैं तब हिमाचल प्रदेश में कुल 36 विधानसभा सीट थीं। इस चुनाव में कांग्रेस के खाते में 24 सीट गई थीं।
आठ सीटों पर निर्दलीय उम्मीदवारों ने जीत हासिल की थी और बाकी सीट अन्य के खाते में गई थीं। आशा रनौत की बातों से ये भी झलकता है कि रनौत परिवार शायद इस पूरे मुद्दे पर फिलहाल कुछ नहीं कहना चाहता है।
खासकर के कांग्रेस से उनके जुड़ाव से वह बचना चाहते हैं। खुद कंगना भी ऐसे संकेत दे चुकी हैं। यह पूछे जाने पर कि क्या कांग्रेस के दोनों नेताओं के खिलाफ कोई कार्रवाई करने की उनकी योजना है? इस पर कंगना ने कहा कि BJP अध्यक्ष जे पी नड्डा ने उन्हें दिल्ली बुलाया है और वह उनसे मुलाकात करने के बाद ही जवाब देंगी। कंगना फिलहाल दिल्ली में ही हैं।
कांग्रेस से जुड़ा रहा रनौत परिवार हिमाचल प्रदेश के कई राजनीतिक जानकार और वरिष्ठ पत्रकार इस पूरे मामले को चुनाव से जोड़कर भी देख रहे हैं। उनका मानना है कि अब कांग्रेस भी इस कोशिश में लगी है कि किसी तरह कंगना कांग्रेस कनेक्शन निकाला जाए। दूसरी ओर कई लोगों का ये भी कहना है कि इसमें कोई शक नहीं है कि कंगना का पुश्तैनी झुकाव कांग्रेस की तरफ ही रहा है और उनके बड़े बुजुर्ग कांग्रेस के समर्थक रहे हैं। इसके पीछे वो सरजू सिंह को एक अहम कारण बताते हैं।
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