सत्यजित रे (Satyajit Ray) की क्लासिक फिल्म “शतरंज के खिलाड़ी” (Shatranj Ke Khiladi) के पीछे कई दिलचस्प कहानियां हैं। खासकर लीला मिश्रा और टॉम ऑल्टर की कास्टिंग से जुड़ी घटनाएं। जानिए कैसे लीला मिश्रा ने सत्यजित रे का ऑफर ठुकराया और फिर क्या हुआ।

सत्यजित रे (satyajit ray) की शतरंज के खिलाड़ी और लीला मिश्रा की अनोखी कहानी
सत्यजित रे (satyajit ray) की शतरंज के खिलाड़ी और लीला मिश्रा की अनोखी कहानी

इस खबर की महत्वपूर्ण बातें

  1. शतरंज के खिलाड़ी की शूटिंग के दौरान सत्यजित रे को झेलनी पड़ी ये बड़ी चुनौती!
  2. जब लीला मिश्रा ने ठुकराया था सत्यजित रे का ऑफर, जानिए असली वजह!
  3. टॉम ऑल्टर और सत्यजित रे की पहली मुलाकात ने कैसे बदल दी एक फिल्म की दिशा?

सत्यजित रे की “शतरंज के खिलाड़ी” (Shatranj Ke Khiladi) हिंदी सिनेमा की एक ऐतिहासिक फिल्म है, जिसकी चर्चा आज भी होती है। इस फिल्म के बनने की कहानी और इसकी कास्टिंग से जुड़े किस्से भी उतने ही दिलचस्प हैं जितनी फिल्म की खुद की कहानी। खासतौर पर लीला मिश्रा (Leela Mishra) और टॉम ऑल्टर (Tom Alter) के रोल्स को लेकर कई अनसुने किस्से हैं, जो फिल्म निर्माण के दौरान सामने आए।

जब सत्यजित रे “शतरंज के खिलाड़ी” की कास्टिंग कर रहे थे, तब हिरया के रोल के लिए उनकी पहली और आखिरी पसंद सिर्फ लीला मिश्रा थीं। सत्यजित रे का मानना था कि इस किरदार को वही सही तरीके से निभा सकती हैं। लेकिन लीला मिश्रा ने शुरुआत में इस फिल्म में काम करने से इनकार कर दिया। सत्यजित रे के असिस्टेंट जब उन्हें फिल्म का प्रस्ताव देने गए, तो उन्होंने साफ मना कर दिया क्योंकि वो कलकत्ता जाकर शूटिंग नहीं करना चाहती थीं।

लीला मिश्रा के इस इनकार से सत्यजित रे के असिस्टेंट को बड़ी हैरानी हुई। आखिर सत्यजित रे जैसे दिग्गज फिल्ममेकर की फिल्म का ऑफर कोई कैसे ठुकरा सकता है? इस मामले को हल करने खुद सत्यजित रे ने लीला मिश्रा से बात की और उन्हें समझाया। सत्यजित रे ने वादा किया कि उन्हें फ्लाइट से आने-जाने की सुविधा दी जाएगी और कोई भी हैक्टिक शेड्यूल नहीं रहेगा। इसके बाद लीला मिश्रा ने हिरया का रोल निभाने के लिए हामी भर दी।

Satyajit Ray – फिल्म के सेट पर अनुभव

फिल्म की शूटिंग के दौरान लीला मिश्रा के अभिनय से सत्यजित रे इतने प्रभावित हुए कि उन्होंने मज़ाक में उनसे कहा, “आप कलकत्ता में ही रह जाइए, मैं आपको अपनी अगली फिल्मों में भी कास्ट करूंगा।” लीला मिश्रा ने प्यार से उनका ये प्रस्ताव ठुकरा दिया, लेकिन यह सत्यजित रे की उनके प्रति सम्मान को दर्शाता है। सत्यजित रे को लीला मिश्रा के जीवन अनुभव से सीखकर निभाए गए किरदार का अंदाजा पहले से ही था, क्योंकि उन्होंने बताया था कि उन्होंने कोई औपचारिक ट्रेनिंग नहीं ली है, बल्कि जीवन से ही अभिनय के गुर सीखे हैं।

Shatranj Ke Khiladi – टॉम ऑल्टर की दिलचस्प कास्टिंग

दूसरी ओर, टॉम ऑल्टर की कास्टिंग भी उतनी ही दिलचस्प है। टॉम ऑल्टर ने 1974 में FTII पुणे से गोल्ड मेडल हासिल किया था, और उसी वक्त सत्यजित रे ने उनसे कहा था कि वो जल्द ही उनके साथ काम करेंगे। कुछ सालों बाद, सत्यजित रे ने उन्हें एक पत्र भेजकर “शतरंज के खिलाड़ी” में कैप्टन वेस्टन का रोल ऑफर किया। टॉम ऑल्टर की हिंदी और उर्दू में महारत सत्यजित रे को प्रभावित कर चुकी थी।

फिल्म के दौरान सत्यजित रे का ध्यान हर छोटे से छोटे डिटेल पर था। एक उदाहरण के तौर पर, उन्होंने टॉम ऑल्टर से उनके बालों के छोटे से हिस्से को काटकर भेजने के लिए कहा ताकि उनके किरदार के साइडबर्न्स उसी रंग के बनाए जा सकें। इससे सत्यजित रे की डेडिकेशन का अंदाजा लगाया जा सकता है। शूटिंग के दौरान, टॉम ऑल्टर ने सत्यजित रे की प्रोफेशनलिज्म की बहुत तारीफ की, खासतौर पर सेट पर उनकी बारीकी से योजना बनाने की आदत को लेकर।

रिचर्ड एटनबरॉ और उत्तम कुमार

फिल्म में मशहूर ब्रिटिश एक्टर रिचर्ड एटनबरॉ ने जेम्स आउटरैम का किरदार निभाया था। फिल्म की शूटिंग के दौरान कोलकाता की गर्मी से परेशान रिचर्ड एटनबरॉ की मदद के लिए सत्यजित रे ने बंगाली सिनेमा के सुपरस्टार उत्तम कुमार से संपर्क किया, जिनके पास उस समय कोलकाता में इकलौती एयर-कंडीशन्ड वैन थी। यह घटना सत्यजित रे की इंडस्ट्री में गहरी पकड़ और उनके प्रति सम्मान को दिखाती है।

“शतरंज के खिलाड़ी” (Shatranj Ke Khiladi) सत्यजित रे की पहली हिंदी फिल्म थी, जिसे आलोचकों से बहुत सराहना मिली, लेकिन बॉक्स ऑफिस पर इसे खास सफलता नहीं मिली। इसके बावजूद, फिल्म के निर्माण से जुड़ी ये कहानियां इसे भारतीय सिनेमा के इतिहास में एक खास जगह दिलाती हैं। सत्यजित रे का डेडिकेशन, लीला मिश्रा और टॉम ऑल्टर जैसे कलाकारों का अद्वितीय योगदान इस फिल्म को आज भी एक महान सिनेमाई कृति बनाता है।

पूछे जाने वाले प्रश्न

1.सत्यजित रे ने “शतरंज के खिलाड़ी” में लीला मिश्रा को क्यों कास्ट किया? सत्यजित रे का मानना था कि लीला मिश्रा ही हिरया के किरदार के साथ न्याय कर सकती थीं।

2.टॉम ऑल्टर को “शतरंज के खिलाड़ी” में कैसे चुना गया? सत्यजित रे ने टॉम ऑल्टर की उर्दू और हिंदी की अच्छी पकड़ के कारण उन्हें कैप्टन वेस्टन के रोल के लिए चुना।

3.”शतरंज के खिलाड़ी” की रिलीज़ डेट क्या है? “शतरंज के खिलाड़ी” 11 मार्च 1977 को रिलीज़ हुई थी।

4.क्या “शतरंज के खिलाड़ी” बॉक्स ऑफिस पर सफल रही थी? फिल्म बॉक्स ऑफिस पर सफल नहीं हुई, लेकिन आलोचकों द्वारा इसे बहुत सराहा गया।

5.रिचर्ड एटनबरॉ ने फिल्म में कौन सा किरदार निभाया था? रिचर्ड एटनबरॉ ने फिल्म में जेम्स आउटरैम का किरदार निभाया था।

इसे भी पढ़ें – एस.डी. बर्मन (S D Burman) और मजरूह सुल्तानपुरी (Majrooh Sultanpuri) संगीत की दो महान हस्तियों की कहानी

हिंदी में मनोरंजन, बॉलीवुड, टेलीविजन,वेब सीरीज़ और अन्य देश से जुड़ी खबरें सबसे पहले  महाकालटाइम्स.कॉम पर पढ़ें.

अगर आपको हमारी स्टोरी से जुड़े सवाल हैं, तो आप हमें आर्टिकल के ऊपर दिये गए कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे। अगर आपको स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे अपने सोशल मीडिया हैंडल पर शेयर करना न भूलें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए MahakalTimes से जुड़े रहें।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here